समय का प्रश्न : शिक्षा दिया नहीं जिसे, उसका अंगूठा क्यों दान लिया….
राकेश पांडेय, जमशेदपुर. मन में रोष लिए एक दिन, काल पहुंचा द्रोण…
शाप या वरदान : शिक्षा जब राज्यपोषित हो तो, सबका अधिकार नहीं होता
राकेश पांडेय, जमशेदपुर. महादेव का धर ध्यान मैं, घूम रहा था वन…
हिन्दी-मैथिली कवि सम्मेलन : एक काव्यमय शाम
जमशेदपुर. साहित्य की खुशबू फैलाने वाली शहर की चिरपरिचित साहित्यिक संस्था हुलास…
प्रेम से है खीर बनायी, नेह लगायी चरण तोहार, महिमा है मइया अपरमपार
प्रियंका कुमारी. गीत (छठ मइया) रोम रोम में गूँजता है,तेरी जय जयकार….तेरी…
आशाओं के दीप कुछ जलाते हैं, चलो प्रिय! दिवाली हम मानते हैं..
अजय मुस्कान. चलो दिवाली मनाते हैं….. चलो प्रिय ! दिवाली हम मानते…
सुनों विश्व के तानाशाहों, तुम्हारे मार देने से खत्म नहीं हो जाता जीवन, वह जन्मता है, फिर नये आकार में…
वरुण प्रभात. जमीन हमारीजंगल हमारानदी हमारीविस्थापित हम ही हम नक्सलीहम आतंकवादीहम उग्रवादीहम…
कभी लड़ाई कभी पढ़ाई, कभी मन को मोह लेते हैं, बस हम तो प्यार जताते हैं….
प्रियंका कुमारी, जमशेदपुर. हम बच्चों का संसार नटखट बड़ा सलोना,हम बच्चों का…
नवरात्रि विशेष : हे माता शैलपुत्री कृपा करो भरपूर, मृग तृष्णा, पाखंड को करना मुझसे दूर
प्रियंका कुमारी, जमशेदपुर. नोट : अगर आप भी कविता, कहानी, लेख, समसामयिक…