– इलेक्ट्रिक बाइक: हरित भविष्य की ओर एक कदम
NTTF आरडी एजुकेशन टाटा टेक्निकल ट्रेंनिंग इंस्टीट्यूट के अंतिम वर्ष के मेकाट्रॉनिक्स छात्रों प्रधानाचार्य प्रीता जॉन, सीपी15 विभागाध्यक्ष एवं परियोजना समन्वयक अजीत कुमार, सेक्शन इंचार्ज मनीष कुमार तथा परियोजना मार्गदर्शक ज्योति कुमारी ठाकुर का उनके अमूल्य सहयोग, मार्गदर्शन और प्रोत्साहन के लिए हार्दिक धन्यवाद व्यक्त करते हैं।
इलेक्ट्रिक बाइक, या ई-बाइक्स, तेजी से एक लोकप्रिय और टिकाऊ परिवहन साधन के रूप में उभर रही हैं। पारंपरिक साइकिलिंग के लाभों को इलेक्ट्रिक सहायता के साथ मिलाकर, ई-बाइक्स दैनिक यात्रियों और शौकीन सवारों दोनों के लिए एक आकर्षक विकल्प बनती जा रही हैं।
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ई-बाइक्स में एक बैटरी चालित मोटर लगी होती है, जो पैडलिंग में सहायता प्रदान करती है, जिससे चढ़ाई वाले रास्तों और लंबी दूरी की सवारी को आसान बनाया जाता है। यह सुविधा उन लोगों के लिए भी साइकिल चलाने को आकर्षक बनाती है, जो पारंपरिक साइकिलिंग को शारीरिक रूप से कठिन मानते हैं।व्यक्तिगत सुविधा के अतिरिक्त, ई-बाइक्स महत्वपूर्ण पर्यावरणीय लाभ भी प्रदान करती हैं। ये शून्य टेलपाइप उत्सर्जन उत्पन्न करती हैं, जिससे शहरी इलाकों में वायु गुणवत्ता में सुधार होता है और जीवाश्म ईंधनों पर निर्भरता कम होती है। जैसे-जैसे बैटरी तकनीक में प्रगति हो रही है और लागत में गिरावट आ रही है, ई-बाइक्स आम जनता के लिए और अधिक सुलभ होती जा रही हैं।
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हालांकि प्रारंभिक लागत थोड़ी अधिक हो सकती है, लेकिन लंबी अवधि में ईंधन और रखरखाव पर होने वाली बचत, स्वास्थ्य लाभ और पर्यावरणीय लाभों के साथ मिलकर, ई-बाइक्स को एक हरित और स्वस्थ भविष्य की दिशा में एक आशाजनक कदम बनाती हैं।
छात्रों ने विकसित किया पर्यावरण के अनुकूल इलेक्ट्रिक फोर-व्हीलर, टिकाऊ परिवहन को देंगे बढ़ावा
पर्यावरण के प्रति जागरूकता और नवाचार का परिचय देते हुए सीपी15 विभाग के चार अंतिम वर्ष के छात्रों की एक टीम ने एक इलेक्ट्रिक फोर-व्हीलर डिज़ाइन और विकसित किया है। इस परियोजना का उद्देश्य है टिकाऊ (सस्टेनेबल) परिवहन को बढ़ावा देना और कार्बन उत्सर्जन को कम करना।
अंकिता श्रीवास्तव के नेतृत्व में और विशाल सरकार के सह-नेतृत्व में, टीम के अन्य सदस्य सोमिल दव राज और अमिताभ कुमार थे। यह परियोजना छात्रों की तकनीकी क्षमता और पर्यावरण के प्रति प्रतिबद्धता का स्पष्ट प्रमाण है। परियोजना को कौशल कुमार ठाकुर के मार्गदर्शन में सफलतापूर्वक पूरा किया गया। साथ ही, सीपी15 विभागाध्यक्ष एवं परियोजना समन्वयक श्री अजीत कुमार, प्राचार्या प्रीता जॉन, तथा सेक्शन इंचार्ज श्री मनीष कुमार का सहयोग और मार्गदर्शन भी इस परियोजना की सफलता में महत्वपूर्ण रहा।
इस इलेक्ट्रिक फोर-व्हीलर की मुख्य विशेषताएँ हैं
पर्यावरण के अनुकूल: यह वाहन रिचार्जेबल बैटरी पैक से संचालित होता है, जिससे कोई प्रदूषण नहीं होता। ऊर्जा दक्षता: कम ऊर्जा खपत में लंबी दूरी तय करने की क्षमता।
उन्नत सुरक्षा सुविधाएँ:
रिजनरेटिव ब्रेकिंग, एंटी-लॉक ब्रेकिंग सिस्टम (ABS) और इलेक्ट्रॉनिक स्टेबिलिटी कंट्रोल (ESC) जैसी आधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित।आरामदायक और विशाल इंटीरियर: यात्रियों की सुविधा और सामान के लिए भरपूर जगह।छात्रों का कहना है कि इस परियोजना के मुख्य उद्देश्य टिकाऊ परिवहन को बढ़ावा देना, ऊर्जा दक्षता में सुधार और वाहन की सुरक्षा एवं आराम को बढ़ाना था।
आगे चलकर टीम इस वाहन के डिज़ाइन को और परिष्कृत करने और व्यावसायीकरण व बड़े स्तर पर उत्पादन की संभावनाओं को तलाशने की योजना बना रही है, ताकि देश की इलेक्ट्रिक मोबिलिटी मिशन में अपना योगदान दे सके।
यह परियोजना इस बात का उदाहरण है कि कैसे शिक्षण संस्थान पर्यावरणीय चुनौतियों का समाधान खोजने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं।